मणिपुर में हिंसा पर उबाल, सिविल सोसाइटी ने एनडीए प्रस्ताव ठुकराया

Manipur is in turmoil over violence, civil society rejects NDA proposal
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इंफाल: मणिपुर में हालिया हिंसा ने राज्य में तनाव और आक्रोश को बढ़ा दिया है। एक छत्र मेइती सिविल सोसाइटी संगठन ने एनडीए विधायकों की बैठक में पारित प्रस्तावों को खारिज करते हुए केंद्र और राज्य सरकार से कुकी उग्रवादी समूहों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। संगठन ने 24 घंटे के अंदर ठोस कदम उठाने का अल्टीमेटम दिया है।

मणिपुर हिंसा के 10 प्रमुख अपडेट

  1. पिछले हफ्ते की घटनाएं:
    जिरीबाम जिले में 6 लोगों, जिनमें महिलाएं और बच्चे शामिल हैं, की हत्या ने हिंसा का नया चक्र शुरू किया। केंद्र ने शांति बनाए रखने के लिए अतिरिक्त बलों को मणिपुर भेजा है।
  2. असम ने सीमा सील की:
    असम सरकार ने मणिपुर से हिंसा फैलने के डर से अपनी सीमा सील कर दी है। असम पुलिस ने सीमा पर कमांडो तैनात किए हैं और ‘असामाजिक तत्वों’ के सीमा पार करने की आशंका जताई है।
  3. मुख्यमंत्री पर बढ़ा दबाव:
    मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह की सरकार पर हिंसा को नियंत्रित करने में विफल रहने के आरोप लग रहे हैं। इस्तीफे की मांग तेज हो गई है।
  4. एनडीए सहयोगी ने समर्थन वापस लिया:
    नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) ने राज्य में भाजपा सरकार से समर्थन वापस ले लिया है। उन्होंने नेतृत्व परिवर्तन की मांग की है।
  5. एनडीए विधायकों की बैठक:
    मुख्यमंत्री ने संकट का समाधान निकालने के लिए एनडीए विधायकों की बैठक बुलाई। हालांकि, 38 में से 11 विधायकों ने बैठक में हिस्सा नहीं लिया।
  6. बैठक में प्रस्ताव:
    • कुकी उग्रवादियों के खिलाफ 7 दिनों में अभियान शुरू करने की मांग।
    • जिरीबाम हत्याकांड सहित तीन प्रमुख मामलों को एनआईए को सौंपने का सुझाव।
    • कुकी उग्रवादियों को “अवैध संगठन” घोषित करने की मांग।
  7. सिविल सोसाइटी का रुख:
    मेइती संगठनों की समन्वय समिति (COCOMI) ने कहा कि यह अपराध केवल जिरीबाम तक सीमित नहीं है, बल्कि राज्य के कई हिस्सों में मई 2023 से हिंसा हो रही है।
  8. SoO समूहों पर सवाल:
    सस्पेंशन ऑफ ऑपरेशन (SoO) समझौते की अवधि फरवरी में समाप्त हो गई थी। अब तक इसके नवीनीकरण पर कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है।
  9. संगठनों की मांग:
    • सभी SoO समूहों को “अवैध संगठन” घोषित किया जाए।
    • केंद्र और राज्य सरकार जल्द कार्रवाई करें।
    • अगर 24 घंटे में समाधान नहीं हुआ, तो सरकारी कार्यालयों का कामकाज ठप किया जाएगा।
  10. केंद्र सरकार का रुख:
    गृह मंत्री अमित शाह ने दिल्ली में अधिकारियों के साथ बैठक की है और शांति सुनिश्चित करने के लिए ठोस कदम उठाने के निर्देश दिए हैं।

स्थिति पर विशेषज्ञों की राय

राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि मणिपुर में चल रहे संकट ने न केवल राज्य सरकार को घेरा है, बल्कि केंद्र सरकार के लिए भी नई चुनौतियां खड़ी कर दी हैं।

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