भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने अपने लोकसभा सदस्य और चर्चित अभिनेत्री कंगना रनौत की किसान आंदोलन को लेकर की गई टिप्पणी से खुद को अलग कर लिया है। सोमवार को पार्टी की ओर से एक बयान जारी कर साफ किया गया कि कंगना की इन टिप्पणियों से बीजेपी का कोई लेना-देना नहीं है और उन्हें भविष्य में इस प्रकार के बयान देने से रोका गया है।
कंगना की टिप्पणी पर बीजेपी का सख्त रुख
कंगना रनौत ने एक वीडियो में दावा किया था कि किसानों के आंदोलन के दौरान देश में एक बांग्लादेश जैसी स्थिति उत्पन्न हो सकती थी अगर शीर्ष नेतृत्व मजबूत नहीं होता। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि आंदोलन के दौरान ‘लाशें लटक रही थीं और बलात्कार हो रहे थे’। कंगना की इस टिप्पणी ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी।
बीजेपी की ओर से जारी बयान में कहा गया कि कंगना रनौत को पार्टी की ओर से ऐसे बयान देने की अनुमति नहीं है और न ही वह पार्टी के नीति-निर्माण पर बोलने की अधिकारी हैं। पार्टी ने स्पष्ट किया कि कंगना को भविष्य में इस तरह की टिप्पणियों से बचने की सख्त हिदायत दी गई है।
सामाजिक सौहार्द के प्रति प्रतिबद्धता
बीजेपी ने अपने बयान में यह भी कहा कि पार्टी “सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास” के सिद्धांतों के प्रति पूरी तरह से प्रतिबद्ध है और सामाजिक सौहार्द को बनाये रखने के लिए दृढ़ संकल्पित है। इस मामले के सामने आने के बाद बीजेपी ने कंगना रनौत को स्पष्ट संदेश दिया है कि उनके ऐसे बयान पार्टी की नीति और उसकी विचारधारा के अनुकूल नहीं हैं।
हरियाणा चुनाव के मद्देनजर बयान का असर
कंगना रनौत के बयान के बाद विपक्षी दलों और किसानों के संगठनों ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। खासकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश, पंजाब और हरियाणा में इस बयान को लेकर काफी नाराजगी देखी जा रही है। हरियाणा में अक्टूबर महीने में चुनाव होने हैं, ऐसे में इस बयान का राजनीतिक प्रभाव भी देखा जा सकता है।
कंगना रनौत की विवादित टिप्पणियों का इतिहास
कंगना रनौत पहले भी अपने विवादित बयानों के कारण सुर्खियों में रही हैं। वह सोशल मीडिया पर अपनी बेबाक राय देने के लिए जानी जाती हैं, लेकिन कई बार उनके बयानों ने विवादों को जन्म दिया है।
बीजेपी की आगे की रणनीति
बीजेपी की ओर से कंगना रनौत के खिलाफ की गई इस सख्त कार्रवाई से यह संदेश दिया जा रहा है कि पार्टी अनुशासनहीनता और गैर-जिम्मेदाराना बयानों को बर्दाश्त नहीं करेगी। हालांकि, यह देखना होगा कि पार्टी की इस कार्रवाई का आगामी चुनावों में क्या असर पड़ता है और क्या कंगना रनौत इस पर कोई प्रतिक्रिया देती हैं।