मुंबई में गणपति उत्सव का समापन हमेशा बड़े धूमधाम से होता है, और इस अवसर पर लाखों लोग सड़कों पर उतरते हैं ताकि वे अपने आराध्य भगवान गणेश की मूर्तियों का विसर्जन कर सकें। इस साल भी, शहर में गणपति विसर्जन का महापर्व धूमधाम से मनाया जा रहा है। परंतु इसके साथ ही सुरक्षा का मुद्दा भी अहम हो जाता है, ताकि भीड़भाड़ के दौरान किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना से बचा जा सके। मुंबई पुलिस ने इस वर्ष गणपति विसर्जन के अंतिम दिन सुरक्षा के लिए अभूतपूर्व इंतजाम किए हैं।
24,000 से ज्यादा पुलिसकर्मी तैनात: व्यापक सुरक्षा इंतजाम
मुंबई पुलिस ने इस वर्ष गणपति विसर्जन के अंतिम दिन विशेष सुरक्षा व्यवस्था की घोषणा की है। एक पुलिस अधिकारी के अनुसार, इस दिन मुंबई की सड़कों पर 24,000 से ज्यादा पुलिसकर्मी तैनात किए जाएंगे, ताकि किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना को टाला जा सके। इस सुरक्षा बल में 9 अतिरिक्त पुलिस आयुक्त, 40 उप पुलिस आयुक्त, और 56 सहायक पुलिस आयुक्त शामिल होंगे। इसके अलावा, पुलिस विभाग की विभिन्न इकाइयों के साथ-साथ अन्य सुरक्षा एजेंसियों को भी तैनात किया जाएगा ताकि सुरक्षा में कोई चूक न हो।
महिलाओं की सुरक्षा पर विशेष ध्यान
मुंबई पुलिस के एक उच्च अधिकारी ने बताया कि इस वर्ष विसर्जन के दौरान महिलाओं की सुरक्षा को लेकर विशेष ध्यान दिया गया है। इस दिशा में कई मोबाइल स्क्वॉड्स को तैनात किया गया है जो भीड़-भाड़ वाले इलाकों में लगातार गश्त करेंगे। साथ ही, महिलाओं की सुरक्षा के लिए विभिन्न उपायों को भी अमल में लाया जा रहा है ताकि वे बिना किसी भय के इस पर्व का आनंद उठा सकें।
सर्विलांस और निगरानी के लिए आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल
सुरक्षा की दृष्टि से इस बार मुंबई पुलिस ने तकनीकी मदद का भी सहारा लिया है। शहर भर में 10,000 से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं, जो हर गतिविधि पर पैनी नजर रखेंगे। ये कैमरे विसर्जन के दौरान प्रमुख स्थानों जैसे गिरगांव चौपाटी, दादर, जुहू, वर्सोवा, पवई झील, और मध आइलैंड जैसे क्षेत्रों में लगे हैं, जहां लाखों की संख्या में भक्त गणपति की मूर्तियों का विसर्जन करने आते हैं।
इसके अलावा, ड्रोन के जरिए भी इन प्रमुख विसर्जन स्थलों पर निगरानी रखी जाएगी, जिससे सुरक्षा बलों को किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत कार्रवाई करने में मदद मिलेगी।
ईद-ए-मिलाद के जुलूस के लिए भी विशेष सुरक्षा इंतजाम
इस वर्ष गणपति विसर्जन के साथ-साथ ईद-ए-मिलाद का जुलूस भी एक दिन बाद आयोजित किया जाएगा। ऐसे में शहर में कानून व्यवस्था बनाए रखना और भी महत्वपूर्ण हो जाता है। मुंबई पुलिस ने इस बात की पुष्टि की है कि ईद-ए-मिलाद के जुलूस के लिए भी व्यापक सुरक्षा इंतजाम किए गए हैं, ताकि किसी भी प्रकार की अव्यवस्था या हिंसा न हो।
वाहनों की आवाजाही के लिए विशेष उपाय
मुंबई पुलिस ने यह भी सुनिश्चित किया है कि गणपति विसर्जन के दौरान शहर में यातायात को सुगम बनाए रखा जाए। यातायात विभाग के संयुक्त पुलिस आयुक्त अनिल कुम्भारे ने जानकारी दी कि पूर्वी एक्सप्रेसवे को ग्रीन कॉरिडोर के रूप में घोषित किया गया है। यह कॉरिडोर पूर्वी और पश्चिमी उपनगरों को जोड़ने का काम करेगा और इस मार्ग पर आपातकालीन वाहनों और एम्बुलेंस को प्राथमिकता दी जाएगी। इसके साथ ही, जो लोग हवाई अड्डे की ओर जा रहे होंगे, उनके लिए भी इस कॉरिडोर के जरिए बिना किसी रुकावट के यातायात उपलब्ध रहेगा।
इसके अलावा, शहर के 12 रेलवे पुलों पर भीड़भाड़ से बचने के लिए विशेष उपाय किए जा रहे हैं, क्योंकि कुछ पुराने पुलों की संरचना कमजोर मानी जा रही है। पश्चिमी और मध्य रेलवे ने इन पुलों पर यात्रा को लेकर कुछ प्रतिबंध लगाए हैं, ताकि कोई दुर्घटना न हो।
In view of the #AnantChaturdashi celebrations on 17th September & #EIDeMilad processions on 18th September across Mumbai City & Suburb, Police bandobast has been deployed across the city to maintain law & order.
9️⃣ Addl. Commissioner of Police
4️⃣0️⃣ Deputy Police commissioners…— मुंबई पोलीस – Mumbai Police (@MumbaiPolice) September 17, 2024
नो पार्किंग जोन और ध्वनि प्रदूषण पर विशेष ध्यान
मुंबई पुलिस ने शहर के प्रमुख क्षेत्रों में नो पार्किंग जोन भी चिन्हित किए हैं, ताकि यातायात सुचारू रूप से चल सके और जाम की समस्या से बचा जा सके। इसके अलावा, ध्वनि प्रदूषण को लेकर भी सख्त कदम उठाए गए हैं। यदि कोई व्यक्ति निर्धारित सीमा से अधिक ध्वनि पैदा करता हुआ पाया जाता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
गणपति विसर्जन: धार्मिक आस्था और सुरक्षा का संगम
मुंबई में गणपति विसर्जन केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं है, यह शहर की सांस्कृतिक धरोहर का भी एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। हर साल इस अवसर पर भक्तगण भगवान गणेश की मूर्तियों को विसर्जन के लिए बड़े ही हर्षोल्लास और श्रद्धा के साथ ले जाते हैं। परंतु इस उत्सव के दौरान हजारों लोग सड़कों पर उतरते हैं, जिससे कानून और सुरक्षा व्यवस्था के लिए चुनौतियां खड़ी हो जाती हैं।
मुंबई पुलिस और अन्य सुरक्षा एजेंसियां इस दिन को लेकर पूरी तरह सतर्क रहती हैं, ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके। इस साल भी पुलिस ने विशेष रूप से महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा के लिए बड़े पैमाने पर कदम उठाए हैं।
सुरक्षा के प्रति आम जनता का सहयोग आवश्यक
मुंबई पुलिस ने आम जनता से भी अपील की है कि वे सुरक्षा और यातायात नियमों का पालन करें और पुलिस को सहयोग दें। पुलिस अधिकारी ने कहा कि विसर्जन के दौरान लोगों को सतर्क रहना चाहिए और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत सूचना देनी चाहिए। साथ ही, किसी भी प्रकार की अफवाहों से बचने की भी सलाह दी गई है।
ड्रोन और सीसीटीवी की मदद से मॉनिटरिंग
सुरक्षा के दृष्टिकोण से इस बार कई महत्वपूर्ण विसर्जन स्थलों पर ड्रोन से निगरानी की जाएगी। गिरगांव चौपाटी, दादर, बांद्रा, जुहू और वर्सोवा जैसे स्थानों पर ड्रोन तैनात किए जाएंगे ताकि सुरक्षा बलों को हर गतिविधि पर नजर रखने में आसानी हो। इसके अलावा, पूरे शहर में लगे 10,000 से अधिक सीसीटीवी कैमरे भी चौबीसों घंटे निगरानी करेंगे।
निष्कर्ष: गणपति विसर्जन के साथ ही मुंबई का सुरक्षा तंत्र भी सजग
मुंबई में गणपति विसर्जन के इस महापर्व के दौरान पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों की भूमिका अत्यधिक महत्वपूर्ण हो जाती है। 24,000 से ज्यादा पुलिसकर्मी, 10,000 से अधिक सीसीटीवी कैमरे, ड्रोन निगरानी और महिलाओं की सुरक्षा के लिए मोबाइल स्क्वॉड्स—ये सभी मिलकर यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि यह दिन शांतिपूर्ण और सुरक्षित ढंग से संपन्न हो सके।
आम जनता की सहभागिता और सहयोग भी इस प्रक्रिया को सफल बनाने में अहम भूमिका निभाती है। पुलिस का यह प्रयास है कि लोग अपने धार्मिक त्योहार का आनंद पूरी सुरक्षा और शांति के साथ ले सकें।
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